दिसंबर में सोने के भाव में सबसे बड़ी गिरावट,

12 दिसंबर को 78163 रुपये से लुढ़क कर 13 दिसंबर को 77380 रुपये पर आ गया। देश भर में सोना शुक्रवार को औसतन 783 रुपये सस्ता हो गया। हालांकि, आभूषण विक्रेताओं और स्टॉकिस्टों की भारी बिकवाली के कारण शुक्रवार को दिल्ली के सर्राफा बाजार में सोना 1,400 रुपये टूटकर 80,000 रुपये से नीचे आ गया, जबकि चांदी में 4,200 रुपये की गिरावट आई। कारोबारियों ने कहा कि इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कमजोर रुख से सर्राफा कीमतों पर भारी दबाव रहा।

शुक्रवार को 99.9 प्रतिशत शुद्धता वाले 24 कैरेट सोने की कीमत 1,400 रुपये गिरकर 79,500 रुपये प्रति 10 ग्राम रही। पिछले सत्र में यह 80,900 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुई थी। चांदी 4,200 रुपये गिरकर 92,800 रुपये प्रति किलोग्राम रह गई। यह दिसंबर महीने में सबसे बड़ी गिरावट है। गुरुवार को चांदी 97,000 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुई थी।

12 दिसंबर को 78163 रुपये से लुढ़क कर 13 दिसंबर को 77380 रुपये पर आ गया। देश भर में सोना शुक्रवार को औसतन 783 रुपये सस्ता हो गया। हालांकि, आभूषण विक्रेताओं और स्टॉकिस्टों की भारी बिकवाली के कारण शुक्रवार को दिल्ली के सर्राफा बाजार में सोना 1,400 रुपये टूटकर 80,000 रुपये से नीचे आ गया, जबकि चांदी में 4,200 रुपये की गिरावट आई। कारोबारियों ने कहा कि इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कमजोर रुख से सर्राफा कीमतों पर भारी दबाव रहा।

शुक्रवार को 99.9 प्रतिशत शुद्धता वाले 24 कैरेट सोने की कीमत 1,400 रुपये गिरकर 79,500 रुपये प्रति 10 ग्राम रही। पिछले सत्र में यह 80,900 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुई थी। चांदी 4,200 रुपये गिरकर 92,800 रुपये प्रति किलोग्राम रह गई। यह दिसंबर महीने में सबसे बड़ी गिरावट है। गुरुवार को चांदी 97,000 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुई थी।

क्यों आई सोने-चांदी के रेट में गिरावट

जानकारों ने कहा, अमेरिकी में उत्पादक मूल्य सूचकांक में गिरावट और साप्ताहिक बेरोजगारी दावों में बढ़ोतरी के बाद मुनाफावसूली तेज होने से सोने में तेज बिकवाली देखी गई। इससे कॉमेक्स (जिंस बाजार) में सोने की कीमत घटकर 2,670 डॉलर प्रति 10 ग्राम रह गई। कॉमेक्स सोना वायदा 18.60 डॉलर प्रति औंस की गिरावट के साथ 2,690.80 डॉलर प्रति औंस पर आ गया।।

डॉलर में सुधार और अमेरिका में मिले-जुले वृहद आर्थिक आंकड़ों ने व्यापारियों को फेडरल रिजर्व की साल की आखिरी नीति बैठक से पहले मुनाफावसूली करने के लिए प्रेरित किया, जिसके कारण शुक्रवार को सोने में गिरावट आई।

आंकड़े जारी होने के बाद भी कारोबारी अगले सप्ताह की फेडरल रिजर्व की बैठक में प्रमुख ब्याज दर में 0.25 प्रतिशत की कटौती का अनुमान लगा रहे हैं, लेकिन अगले साल के लिए मौद्रिक नीति का मार्ग अत्यधिक अनिश्चित बना हुआ है।

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